रूस का दावा: यूक्रेन के अहम शहर के करीब पहुंची सेना, गांव पर कब्ज़ा किया
रूस का दावा: यूक्रेन के अहम शहर के करीब पहुंची सेना, गांव पर कब्ज़ा किया
रूस के सैन्य बल पूर्वी यूक्रेन में लगातार आगे बढ़ने की कोशिशें कर रहे हैं और चासीव यार शहर से बस कुछ किलोमीटर ही दूर हैं.
यूक्रेन की सेना पिछले छह महीनों से अपनी रक्षात्मक पंक्तियों को बचाये रखने के लिए संघर्ष कर रही है.
यूक्रेनी सेना इस समय हथियारों, सैनिकों और वायु सेना की सुरक्षा की कमी का सामना कर रही है.
विश्लेषकों का मानना है कि रूस इस बार गर्मियों में और मज़बूती से आक्रमण को आगे बढ़ा सकता है.
रूस, यूक्रेन की रक्षात्मक पंक्तियों को तोड़कर और आगे बढ़ना का इरादा रखता है.
रूस ने फ़रवरी 2022 में यूक्रेन पर हमला किया था. इसके बाद से रूस और यूक्रेन के बीच भीषण युद्ध चल रहा है. रूस अपने इस आक्रमण को विशेष सैन्य अभियान कहता है.
यूक्रेन ने बार-बार पश्चिमी देशों से मदद मांगी है और अधिक हथियार उपलब्ध कराने का आग्रह किया है.
अमेरिकी संसद ने यूक्रेन के लिए 60 अरब डॉलर की मदद को मंज़ूरी दे दी है.
रूस का कहना है कि अमेरिका के यूक्रेन की मदद करने का मतलब है कि वह इस युद्ध में और ग़हराई से शामिल हो रहा है और इसके नतीजे अमेरिका के लिए शर्मनाक होंगे.(bbc.com/hindi)
रूस के सैन्य बल पूर्वी यूक्रेन में लगातार आगे बढ़ने की कोशिशें कर रहे हैं और चासीव यार शहर से बस कुछ किलोमीटर ही दूर हैं.
यूक्रेन की सेना पिछले छह महीनों से अपनी रक्षात्मक पंक्तियों को बचाये रखने के लिए संघर्ष कर रही है.
यूक्रेनी सेना इस समय हथियारों, सैनिकों और वायु सेना की सुरक्षा की कमी का सामना कर रही है.
विश्लेषकों का मानना है कि रूस इस बार गर्मियों में और मज़बूती से आक्रमण को आगे बढ़ा सकता है.
रूस, यूक्रेन की रक्षात्मक पंक्तियों को तोड़कर और आगे बढ़ना का इरादा रखता है.
रूस ने फ़रवरी 2022 में यूक्रेन पर हमला किया था. इसके बाद से रूस और यूक्रेन के बीच भीषण युद्ध चल रहा है. रूस अपने इस आक्रमण को विशेष सैन्य अभियान कहता है.
यूक्रेन ने बार-बार पश्चिमी देशों से मदद मांगी है और अधिक हथियार उपलब्ध कराने का आग्रह किया है.
अमेरिकी संसद ने यूक्रेन के लिए 60 अरब डॉलर की मदद को मंज़ूरी दे दी है.
रूस का कहना है कि अमेरिका के यूक्रेन की मदद करने का मतलब है कि वह इस युद्ध में और ग़हराई से शामिल हो रहा है और इसके नतीजे अमेरिका के लिए शर्मनाक होंगे.(bbc.com/hindi)